बवासीर को हम पाइल्स के नाम से जानते हैं। यह एक ऐसी बीमारी होती है जिसमें मलद्वार के अंदर तथा बाहर सूजन हो जाती है। जिसके कारण कुछ समय पश्चात इसके आस-पास ऊपरी त्वचा एकत्रित होकर मस्सों का रूप ले लेती है, जिससे कभी-कभी मल त्याग के समय रक्त का स्त्राव भी होता है, जो बहुत ही दर्द कारक तथा पीड़ादायक होता है। बवासीर एक ऐसी बीमारी है जिसको बताने के लिए लोग संकोच करते हैं, तथा जब तक यह अधिक मात्रा में शरीर में फ़ैल नहीं जाती है, तब तक लोग डॉक्टर के पास जाने से कतराते रहते हैं। जिससे इसका इलाज हमें पर नहीं हो पाता है। बवासीर का इलाज सही समय पर ना होने के कारण समस्याएं बहुत अधिक बढ़ जाती हैं। ऐसी समस्याओं से बचने के लिए आज हम आपको हल्दी से बवासीर का इलाज कैसे किया जाता है, की जानकारी देंगे जिससे हाल में होने वाली बवासीर की समस्या को समाप्त कर सकते हैं।
Table of Contents
बवासीर क्या है
जब हमारे शरीर में पाचन संबंधी विभिन्न प्रकार की समस्याएं होती हैं जिनके कारण हमें कब्ज जैसी समस्या हो जाती है, जिसके कारण व्यक्ति को मल त्याग के समय बहुत प्रॉब्लम होती है, जिसके कारण मल द्वार पर सूजन होने लगती है तथा कुछ समय पश्चात वहां की त्वचा छोटे-छोटे मस्सों के रूप में एकत्रित हो जाती है। जिसके कारण उस की मल त्याग के दौरान जोर लगाने पर ये मस्से बाहर आ जाते हैं। कब्ज में मल सूखा और कठोर हो जाता है, जिसके कारण व्यक्ति को मल त्यागने में दिक्कत होती है काफी देर तक उकड़ू बैठे रहने के कारण वहां की रक्तवाहिनियों पर जोर पड़ता है जिसके कारण वह फूलकर लटक जाती हैं और उन्हें ही बवासीर का मस्सा कहा जाता है।
बवासीर होने के कारण
बवासीर की बीमारी होने का मुख्य कारण कब्ज की समस्या होता है जिन व्यक्तियों को काफी समय से कब्ज रहती है और उनका पेट सही से साफ नहीं होता है उनको धीरे-धीरे बावशीर की समस्या होने लगती है आज के इस वर्तमान समय में हेल्थी खाना मिलना बड़ा मुश्किल हो गया है। बाजार में उपलब्ध फास्ट फूड तथा तले भुने भोज पदार्थों का सेवन करने से हमें विभिन्न प्रकार की समस्याएं हो रहे हैं, गरिष्ठ तथा तला भुना भोजन करने के कारण हमारी पाचन क्रिया खराब हो जाती है। पाचन क्रिया सही ना होने के कारण प्रारंभ में हमें मल त्यागने में बहुत ज्यादा समय लगता है जिसके कारण हमें धीरे-धीरे कब्ज की समस्या हो जाती है कब्ज से होने के कारण कुछ समय पश्चात बवासीर समस्या हो जाती है। बवासीर होने कुछ निम्नलिखित कारण है
- कब्ज के कारण।
- अधिक वजन उठाने के कारण।
- अधिक देर तक खड़े रहने के कारण।
- गर्भावस्था के दौरान।
- मल त्याग में जोर लगाना।
- अधिक मसालों का प्रयोग करने के कारण।
- खाने में गरिष्ठ पदार्थों का अधिक प्रयोग करने के कारण।
- अधिक मात्रा में तला भुना-खाने के कारण।
- अधिक मात्रा में तैलीय पदार्थों के सेवन के कारण।
- एक कारण मोटापा भी है।
- अधिक मात्रा में एनल सेक्स के कारण।
- यदि परिवार में किसी को बवासीर।
- बुढ़ापा।
- दस्त।
- फाइबर युक्त भोजन का सेवन न करना।
- प्रसव के दौरान गुदा क्षेत्र पर अधिक दबाव पड़ने के करना।
- धूम्रपान और शराब के सेवन के चलते।
Read Also : लिवर का रामबाण इलाज
बवासीर के लक्षण
बवासीर से पीड़ित व्यक्तियों को प्राथमिक लक्षण कब्ज होता है। कब्ज के कारण बवासीर होना शुरू हो जाती है। बवासीर का प्राथमिक लक्षण कब्ज होता है। इसके साथ साथ बवासीर से पीड़ित व्यक्ति को विभिन्न प्रकार के लक्षण दिखाई देते हैं। जो निम्नलिखित हैं
- मल त्याग के समय दर्द होना और रक्त या म्यूकस आना।
- एनस के आसपास सूजन या गांठ जैसे होना।
- एनस के आसपास खुजली होना।
- मल त्याग के बाद भी ऐसा लगना कि पेट साफ नहीं हुआ है।
- पाइल्स के मस्सों से सिर्फ खून आना।
- गुदा(एनस) के पास एक गांठ।
- सूजन।
- गंभीर दर्द।
- त्यागने की इच्छा होना, लेकिन मल न निकलना।
हल्दी से बवासीर का रामबाण इलाज
हल्दी एक ऐसा आयुर्वेदिक तत्व है जिसमें विभिन्न प्रकार के आयुर्वेदिक औषधीय गुण पाए जाते हैं। हल्दी में एंटीबायोटिक, एंटीऑक्सीडेंट, एंटी इन्फ्लेमेटरी गुणों के साथ साथ रोग प्रतिरोधक क्षमता पर्याप्त मात्रा में पाई जाती है, जो विभिन्न प्रकार के रोगों को ठीक करने के लिए उपयोगी होती है। हल्दी का प्रयोग करने से बवासीर को विभिन्न प्रकार के तरीकों से ठीक किया जा सकता है। यदि आप बवासीर की समस्या से पीड़ित हैं आपको दैनिक रूप से हल्दी का सेवन करना चाहिए बवासीर को हल्दी के द्वारा निम्नलिखित तरीकों से ठीक किया जा सकता है।
- मूली और हल्दी।
- हल्दी और एलोवेरा जेल।
- देसी घी और हल्दी है रामबाण इलाज।
- हल्दी, बकरी का दूध।
- नहाने के टब में हल्दी का उपाय।
- हल्दी और नारियल तेल।
- पेट्रोलियम जेली और हल्दी।
- काला नमक और हल्दी।
मूली और हल्दी
यदि आप पाइल्स की समस्या से परेशान तो आप हम भी तथा मूली का सेवन कर सकते हैं। हल्दी के साथ मूली का सेवन करने के लिए दैनिक रूप से सुबह-सुबह एक मूली को काटकर उसके ऊपर हल्दी लगाने हल्दी लगाने के पश्चात मूली को खाने से पाइल्स की समस्या ठीक हो जाती है। बवासीर से परेशान लोगों को दैनिक रूप से मूली और हल्दी का सेवन करना चाहिए। मूली और हल्दी को आप अचार के रूप में भी प्रयोग कर सकते हैं, किंतु ध्यान रहे इसके लिए आप मूली को छोटे-छोटे टुकड़ों में उसमें हल्दी डाल के किसी बंद एयरटाइट जार में भरकर रखते हैं तथा इसका प्रयोग कर सकते हैं मूली और हल्दी बवासीर के लिए रामबाण औषधि है।
एलोवेरा हल्दी से बवासीर का इलाज
बवासीर की समस्या के लिए हल्दी के साथ एलोवेरा जेल का प्रयोग बहुत अधिक फायदेमंद होता है। एलोवेरा जेल के साथ हल्दी के प्रयोग से लोगों से बहुत जल्दी ठीक हो जाती है। एलोवेरा और हल्दी के प्रयोग के लिए दो चम्मच एलोवेरा जेल लें और उसमें एक चम्मच हल्दी मिलाकर उसका गाढ़ा पेस्ट बना दें उसके बाद उस पर रखो रात को सोते समय प्रभावित स्थान पर लगाकर सो जाएं तथा प्रातः काल ठंडे पानी से धो दें ऐसा लगातार कुछ दिन तक करने से बवासीर के मस्सों से निजात मिलती है, तथा कुछ समय बाद बाबासीर की समस्या ठीक हो जाती है। बवासीर से पीड़ित व्यक्तियों को हल्दी और एलोवेरा जेल का प्रयोग उपरोक्त बताए गए विधि से दैनिक रूप से करना चाहिए जिससे उनकी बवासीर की समस्या ठीक हो जाएगी।
See Also : बवासीर का रामबाण आयुर्वेदिक इलाज तुरंत पाएं आराम
देसी घी और हल्दी है रामबाण इलाज
देसी घी और haldi se bawaseer ka ilaj करने के लिए बहुत ही उपयुक्त आयुर्वेदिक घरेलू पदार्थ हैं। देसी घी और हल्दी का प्रयोग बवासीर की समस्या को ठीक करने के लिए प्राचीन काल से किया जा रहा है देसी घी और हल्दी का प्रयोग बवासीर में खुजली तथा दर्द को मिटाने के लिए किया जाता है। जिन व्यक्तियों में बवासीर की समस्या के कारण दर्द तथा खुजली होती है। उनको देसी घी में हल्दी को मिलाकर प्रभावित स्थान पर लगाना चाहिए। जिससे खुजली और दर्द की समस्या ठीक हो जाती है दैनिक रूप से भी और हल्दी का प्रयोग करने से बवासीर से पीड़ित लोगों को आराम मिलता है।
हल्दी, बकरी का दूध
बवासीर की समस्या से बचने के लिए घर में उपलब्ध विभिन्न प्रकार के आयुर्वेदिक पदार्थों द्वारा इसका इलाज किया जा सकता है घर में उपलब्ध हल्दी तथा बकरी के दूध द्वारा बवासीर को ठीक करने के लिए एक गिलास बकरी के दूध में एक चम्मच हल्दी तथा थोड़ा सा नमक डालकर दैनिक रूप से इसका सेवन करना चाहिए। सुबह से जैसे समस्या समाप्त हो जाती है। जिन व्यक्तियों को बवासीर की समस्या के कारण दर्द तथा प्रभावित स्थान पर खुजली होती है, उनको दैनिक रूप से बकरी के दूध में हल्दी और काले नमक का प्रयोग करना चाहिए। जिससे उनकी बवासीर की समस्या जल्दी ठीक हो जाती है इससे शारीरिक कमजोरी भी दूर होती है तथा अन्य विभिन्न प्रकार के रोगों से राहत मिलते हैं।
नहाने के टब में हल्दी का उपाय
बवासीर से पीड़ित लोगों को नहाने के पानी में दैनिक रूप से हल्दी का प्रयोग करना चाहिए जिससे बवासीर की समस्या ठीक होती है मौसी की समस्या को ठीक करने के लिए एक टब में प्राकृतिक रूप से ठंडा पानी लें तथा उसमें दो से तीन चम्मच हल्दी डाल दें उसके पश्चात उसे अच्छी तरह से धोलकर उसमें 10 से 15 मिनट तक बैठे रहें तत्पश्चात उसी पानी से स्नान कर लें ऐसा करने से बवासीर की समस्याएं होने लगती है जिन व्यक्तियों को बवासीर की समस्या से दर्द तथा खुजली होती है वह दैनिक रूप से इस क्रिया को कर सकते हैं जिस से बवासीर की समस्या कुछ समय पश्चात ठीक हो जाएगी और आपको दर्द और खुजली से राहत मिल जाएगी
हल्दी और नारियल तेल
बवासीर से पीड़ित व्यक्ति को बहुत ज्यादा दर्द तथा खुजली और समस्या होती रहती हैं जिसके कारण उनको विभिन्न प्रकार के समस्याओं का सामना करना पड़ता है, ऐसे व्यक्ति अक्सर कैसे रहते हैं कि बवासीर का इलाज बताइए इसके लिए आप घर में हल्दी और नारियल तेल का प्रयोग करते हुए बवासीर की समस्या ठीक कर सकते हैं। बवासीर की समस्या को ठीक करने के लिए नारियल के तेल में हल्दी पाउडर को मिलाकर प्रभावित स्थान में लगाने से बवासीर की समस्या समय बाद ठीक हो जाती बवासीर की परेशानियों से राहत पाने के लिए नारियल तेल का इस्तेमाल करें। नारियल तेल में एंटी-सेप्टिक गुण मौजूद होता है, जो इंफेक्शन से लड़ने में आपकी मदद करता है। वहीं, हल्दी एंटी-बैक्टीरियल गुणों से भरपूर होता है।बवासीर से पीड़ित व्यक्तियों को दैनिक रूप से हल्दी और नारियल तेल का प्रयोग करना चाहिए जिससे बवासीर के मस्सों की समस्या समाप्त हो जाती है और उनको बवासीर के दर्द और खुजली से राहत मिलती है।
पेट्रोलियम जेली और हल्दी
पैट्रोलियम जैली और हल्दी का प्रयोग बवासीर के दर्द को समाप्त करने के लिए किया जाता है जिन व्यक्तियों में बवासीर के कारण अत्यधिक दर्द और खुजली होती है उनको देने ग्रुप से पेट्रोलियम जेली और हल्दी का प्रयोग करना चाहिए इसके प्रयोग के लिए थोड़ी सी पैट्रोलियम जेली में हल्दी मिलाकर प्रभावित स्थान पर लगाना चाहिए इससे कुछ समय पश्चात भाव से ठीक होने लगती है यदि आपको बवासीर है जिसके कारण भी दर्द होता है। इसके लिए पैट्रोलियम जैली और हल्दी का इस्तेमाल प्रभावकारी हो सकता है। क्योंकि इससे आपको गुदे में कम खिंचाव महसूस होता है। इस उपाय को करने के लिए आप हाथ में थोड़ी सी पेट्रोलियम जैली लेकर उस पर हल्दी पाउडर छिड़क लें और इस मिश्रण को प्रभावित भाग पर लगा लें।
Read Also : सैक्स पावर कैप्सूल पतंजलि | sex time kaise badhaye
काला नमक और हल्दी
बवासीर की समस्या को ठीक करने के लिए काला नमक और हल्दी का उपयोग किया जाता है जिन व्यक्तियों में बवासीर की समस्या होती है नमक और हल्दी को एक गिलास गुनगुने पानी के साथ लेना चाहिए इससे कुछ समय पश्चात बवासीर के समस्या ठीक हो जाती है। काला नमक और हल्दी बवासीर की समस्या के लिए रामबाण औषधि है इस के लिए इसका प्रयोग दैनिक रूप से करना चाहिए।
निष्कर्ष
उपरोक्त लेख में हल्दी के प्रयोग द्वारा बवासीर के इलाज के बारे में बताइए बवासीर की समस्या से बचने के लिए हल्दी के साथ विभिन्न प्रकार के पदार्थ का प्रयोग करते हुए बवासीर का घरेलू विधि द्वारा ठीक किया जा सकता है जिन व्यक्तियों को बाबासीर की समस्या है और वह हल्दी से बवासीर का इलाज करना चाहते हैं उनके लिए यहां पर कुछ विशेष जानकारियां दी गई हैं। जिनके अध्ययन के पश्चात हल्दी का प्रयोग करते हुए आप अपने बवासीर की समस्या को ठीक कर सकते हैं इसके बेहतर प्रयोग तथा फायदे के लिए एक बार डॉक्टर से सलाह कर लेना आवश्यकता होता है।
FAQ
क्या हल्दी बवासीर के लिए अच्छी है?
हल्दी एक ऐसा आयुर्वेदिक तत्व है जिसमें विभिन्न प्रकार के आयुर्वेदिक औषधीय गुण पाए जाते हैं हल्दी में एंटीबायोटिक, एंटीऑक्सीडेंट, एंटी इन्फ्लेमेटरी गुणों के साथ साथ रोग प्रतिरोधक क्षमता पर्याप्त मात्रा में पाई जाती है। हल्दी का प्रयोग विभिन्न प्रकार के पदार्थों के साथ बवासीर के लिए इलाज में प्रयोग किया जाता है। जिन व्यक्तियों में बवासीर की समस्या होती है उनको दैनिक रूप से हल्दी की मात्रा का प्रयोग करना चाहिए तथा उपरोक्त बताएं हुए कुछ अन्य वस्तुओं पदार्थों के साथ हल्दी का प्रयोग बहुत सेव की समस्या को समाप्त करने के लिए किया जा सकता है।
क्या बवासीर में हल्दी वाला दूध पी सकते हैं?
बवासीर में हल्दी और दूध का प्रयोग बहुत ही फायदेमंद होता है बवासीर की समस्या को ठीक करने के लिए दैनिक रूप से हल्दी वाले दूध का प्रयोग किया जाना चाहिए हमारे शरीर की पाचन शक्ति के साथ-साथ शारीरिक ऊर्जा को भी बढ़ाता है बवासीर के लिए दूध के प्रयोग के लिए अगर बकरी का दूध उपलब्ध हो तो वह और अधिक फायदेमंद होता है इसमें गुनगुने दूध में एक चम्मच हल्दी मिलाकर रात को सोते समय पीना चाहिए जो बवासीर के लिए बहुत ही रामबाण औषधि।
बवासीर के कीड़े कैसे होते हैं?
बवासीर में किसी भी प्रकार के कीड़े दिखाई नहीं देते हैं बवासीर कब्ज के कारण होने वाली एक समस्या होती है जिसमें मलद्वार के अंदर तथा बाहर सूजन हो जाती है इसके पश्चात उसने छोटे-छोटे मस्से हो जाते हैं जो त्वचा के एकत्र हो जाने के कारण होते हैं इन मस्सों में मल त्याग के समय बहुत अधिक दर्द करता है और इससे रक्त का श्राव भी होने लगता है बवासीर कई बार पाचन क्रिया के सही नहीं होने पर, बहुत भारी चीजें उठाने पर, गैस की समस्या होने पर, तनाव लेने पर, मोटापा होने पर और एनल सेक्स की वजह से भी ये बीमारी हो जाती है।